डीएमसी का फूंका पुतला, लगाया हिटलरशाही करने का आरोप
न्यूज डेक्स संवाददाता
कुरुक्षेत्र। नगर परिषद के सफाई कर्मचारियों से डोर टू डोर कूड़ा उठाने के साथ यूजर चार्ज वसूलने की डीएमसी द्वारा ड्यूटी लगाने को लेकर सभी सफाई कर्मी एकजुट हो गए व नप के द्वारा पर जोरदार प्रदर्शन किया। गुरुवार को सफाई कर्मचारियों ने इसको लेकर जहां हड़ताल पर जाने का ऐलान कर दिया वहीं डीएमसी पर तानाशाही रवैये का आरोप लगाते हुए डीएमसी भारत भूषण गोगिया का का पुतला फूंका। इस दौरान नगर पालिका सफाई कर्मचारी संघ के राज्य उप प्रधान सुभाष गुंसर के नेतृत्व में सभी सफाईकर्मी कामकाज छोड़ नगर परिषद कार्यालय के सामने एकजुट हो गए। गुंसर ने आरोप लगाया 17 अगस्त को डीएमसी गोगिया ने सफाई दरोगों की मीटिंग लेकर उन्हें डोर टू डोर कूड़ा उठाने के साथ ही यूजर चार्ज वसूलने के लिए रसीद बुक थमा दी। गुंसर ने कहा सफाई दरोगा सफाई का कामकाज देखेंगे या रसीदें कटवाएंगे। आरोप लगाया अधिकारी सफाईकर्मचारियों का शोषण करना चाह रहे हैं जो किसी भी सूरत में सहन नहीं होगा ।
हड़ताल पर जाने का ऐलान किया तो पहुंचे ईओ
सफाई कर्मचारियों ने डीएमसी का पुतला फूंकने के बाद हड़ताल पर जाने का ऐलान कर दिया। इसी बीच मौके पर ईओ बलबीर रोहिला पहुंचें। सफाई कर्मचारियों ने नप की ओर से यूजर चार्ज वसूलने के लिए दी गई सभी रसीद बुक ईओ को थमा दी और यह काम न करने पर अड़ गए। इसके अलावा कर्मचारियों ने कहा आधे से अधिक महीना बीत चुका है ओर से पक्के कर्मचारियों को सैलरी दी गई है। सफाईकर्मचारियों ने मांग की कि सफाई कर्मियों को सफाई दरोगा के पद पर पदोन्नत किया जाए। सभी कच्चे-पक्के कर्मचारियों का ईपीएफ- जीपीएफ समय पर कर्मचारियों के खाते में डाला जाए।
हिटलरशाही करने का लगाया आरोप
सुभाष गुंसर ने आरोप लगाया कि डीएमसी भारत भूषण गोगिया सफाई कर्मियों के साथ हिटलरशाही कर रहे हैं। जब उन्हे रेहड़ी ही उपलबध नही करवाई गई तो कैसे कूडा उठाया जाएगा। डीएमसी उन्हे कहते हंै कि यूजर चार्जिस एकत्रित करने लाओ फिर रेहडी जैसी सुविधाएं दी जाएंगी। ऐसे में सफाई कर्मचारियों को टार्चर करने का कार्य किया जा रहा है।
कोरोना काल में मौत से खेलकर काम किया सफाई कर्मियों ने : निंदी
पूर्व पार्षद नरेंद्र शर्मा निंदी ने कहा सफाई कर्मियों को परेशान करने का कार्य किया जा रहा है। कोरोना काल में मौत से खेलकर सफाई कर्मियों ने शहर में सफाई व्यवस्था बनाकर रखी लेकिन अब उन्हे तनख्वाह न देकर व अन्य तरीके से परेशान करने का कार्य किया जा रहा है।