Friday, November 22, 2024
Home International News भारत और अमेरिका ने मानव रहित विमानों के संबंध में परियोजना,समझौते पर हस्ताक्षर किये

भारत और अमेरिका ने मानव रहित विमानों के संबंध में परियोजना,समझौते पर हस्ताक्षर किये

by Newz Dex
0 comment

रक्षा प्रौद्योगिकी एवं व्यापार पहल के अंतर्गत भारत और अमेरिका के रक्षा मंत्रालयों के बीच परियोजना-समझौते पर हस्ताक्षर

भारत और अमेरिका के बीच रक्षा प्रौद्योगिकी सहयोग बढ़ाने की दिशा में महत्त्वपूर्ण कदम

न्यूज डेक्स इंडिया

दिल्ली।ड्रोन सहित मानव रहित विमानों के प्रोटोटाइप को मिलकर विकसित करने के लिये डिजाइन, विकास, प्रदर्शन, परीक्षण और मूल्यांकन प्रणालियों के सम्बंध में भारतीय वायु सेना तथा रक्षा अनुसंधान एवं विकास परिषद (डीआरडीओ) के बीच सहयोग का ब्योरा
भारत और अमेरिका के रक्षा मंत्रालयों ने मानव रहित विमानों (एयर-लॉंच्ड अनमैन्ड एरियल व्हेकिल-एएलयूएवी) के सम्बंध में एक परियोजना-समझौते (पीए) पर हस्ताक्षर किये हैं। उल्लेखनीय है कि मानव रहित विमानों में ड्रोन आदि शामिल हैं।

यह समझौता रक्षा प्रौद्योगिकी और व्यापार पहल (डीटीटीआई) के हवाले से संयुक्त वायु प्रणाली कार्य समूह के तहत 30 जुलाई, 2021 को किया गया।, भारत और अमेरिका के रक्षा मंत्रालयों के बीच हुये अनुसंधान, विकास, परीक्षण और मूल्यांकन (आरडीटी-एंड-ई) समझौता-ज्ञापन के दायरे में एएलयूएवी को रखा गया है। इस समझौता-ज्ञापन पर सबसे पहले जनवरी 2006 में हस्ताक्षर किये गये थे और जनवरी 2015 को उसका नवीनीकरण किया गया था। यह समझौता रक्षा उपकरणों को मिलकर विकसित करने की दिशा में दोनों देशों के बीच रक्षा प्रौद्योगिकी सहयोग को और गहन बनाने की एक महत्त्वपूर्ण पहल है।

डीटीटीआई का मुख्य लक्ष्य है कि सहयोगात्मक प्रौद्योगिकी के आदान-प्रदान तथा भारत और अमेरिकी सेना के लिये भावी प्रौद्योगिकियों के सह-उत्पादन और सह-विकास पर लगातार जोर देना। डीटीटीआई के अंतर्गत थल, जल, वायु और विमान वाहक पोतों की प्रौद्योगिकियों के सम्बंध में एक संयुक्त कार्य समूह का गठन किया गया है, ताकि इन क्षेत्रो में आपसी चर्चा के बाद मंजूर होने वाली परियोजनाओं पर ध्यान दिया जा सके। एएलयूएवी के बारे में जो परियोजना-समझौता किया गया है, वह वायु प्रणालियों से जुड़े संयुक्त कार्य समूह के दायरे में आता है। यह डीटीटीआई की एक बड़ी उपलब्धि है।

परियोजना-समझौते में अमेरिका की एयरफोर्स रिसर्च लैबोरेट्री (एएफआरएल), भारतीय वायु सेना और रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन के बीच सहयोग का खाका शामिल किया गया है। इसके तहत एएलयूएवी प्रोटोटाइप का डिजाइन तैयार किया जायेगा और उसका विकास, परीक्षण तथा मूल्यांकन किया जायेगा। डीआरडीओ में स्थित वैमानिकी विकास प्रतिष्ठान (एडीई) और एएफआरएल के तहत एयरोस्पेस सिस्टम्स डायरेक्टोरेट, भारतीय और अमेरिकी वायु सेना इस परियोजना-समझौते को क्रियान्वित करने वाले मुख्य संगठन हैं।

भारतीय वायु सेना की तरफ से उप वायुसेना प्रमुख (योजना) एयर वाइस मार्शल नरमदेश्वर तिवारी तथा अमेरिकी वायु सेना की तरफ से एयर फोर्स सेक्योरिटी असिस्टेंस एंड कोऑपरेशन डायरेक्टोरेट के निदेशक ब्रिगेडियर जनरल ब्रायन आर. ब्रकबॉवर ने हस्ताक्षर किये। उल्लेखनीय है कि दोनों अधिकारी डीटीटीआई के तहत गठित संयुक्त कार्य समूह के सह-अध्यक्ष हैं।

You may also like

Leave a Comment

NewZdex is an online platform to read new , National and international news will be avavible at news portal

Edtior's Picks

Latest Articles

Are you sure want to unlock this post?
Unlock left : 0
Are you sure want to cancel subscription?
-
00:00
00:00
Update Required Flash plugin
-
00:00
00:00