न्यूज डेक्स संवाददाता
कुरुक्षेत्र। उपायुक्त मुकुल कुमार ने कहा कि सरकार के कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के अंतर्गत बागवानी विभाग की ओर से चलाई जा रही योजनाओं का लाभ उठाकर किसान अपनी आर्थिक स्थिति को मजबूत कर सकते हैं। सरकार कृषि में लागत को कम करके किसानों की आमदनी बढ़ाने के लिए प्रयासरत है। इसके लिए सरकार की ओर से कई प्रकार की योजनाएं भी चलाई जा रही हैं। बागवानी विभाग द्वारा चलाई जा रही योजनाएं किसानों के लिए अहम साबित हो सकती हैं, जिनका किसानों को लाभ उठाना चाहिए। उपायुक्त ने बताया कि बागवानी पोर्टल पर आवेदन कर योजनाओं का लाभ लिया जा सकता है।
योजना के तहत किसानों को अनुदान भी प्रदान किया जाता है। किसान पॉली हाऊस, नेट हाऊस, वाक-इन-टनल तथा प्लास्टिक टनल आदि योजनाओं का लाभ ले सकते हैं। सरकार द्वारा इन योजनाओं को किसानों की लागत कम कर आर्थिक हालत सुधारने के लिए चलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि पॉली हाऊस के लिए अधिकतम अनुदान राशि एक एकड़ के लिए आईएचडी योजना के तहत 18.98 से 40.30 लाख रुपये प्रति एकड़ तथा एससीएसपी के तहत 26.28 लाख से 55.8 लाख रुपये प्रति एकड़ सीमा निर्धारित की गई है। एक एकड़ में पॉली हाऊस लगाने पर लगभग 29.2 से 62 लाख रुपये का खर्च होता है। नेट हाऊस लगाने के लिए प्रति एकड़ लगभग 14 से 25.60 लाख रुपये प्रति एकड़ खर्च आता है।
एक एकड़ के लिए आईएचडी के तहत 9.10 से 16.64 लाख रुपये प्रति एकड़ तथा एससीएसपी के तहत 12.60 से 23.04 लाख रुपये प्रति एकड़ अनुदान सीमा निर्धारित की गई है। उन्होंने कहा कि वॉक-इन-टनल के लिए आईएचडी के तहत 15.60 से 17.42 लाख रुपये प्रति एकड़ तथा एससीएसपी के तहत 21.60 से 24.12 लाख रुपये प्रति एकड़ अनुदान की सीमा निर्धारित की गई है। वॉक-इन-टनल पर प्रति एकड़ 24 से 26.80 लाख रुपये खर्च होता है। प्लास्टिक टनल के लिए प्रति एकड़ एक से 1.16 लाख रुपये प्रति एकड़ लागत होती है। आईएचडी के तहत 50 हजार रुपये से 58 हजार रुपये प्रति एकड़ अनुदान सीमा निर्धारित की गई है तथा 2.5 एकड़ के लिए अधिकतम अनुदान राशि प्राप्त की जा सकती है।