बोले गुरुकुल का फार्म किसानों के लिए प्राकृतिक कृषि का अद्वितीय उदाहरण
आचार्य देवव्रत ने कहा प्राकृतिक कृषि से गोसंरक्षण के साथ किसान की आय बढे़गी
न्यूज डेक्स संवाददाता
कुरुक्षेत्र, 11 अक्तूबर। उत्तर प्रदेश सरकार के कृषि, कृषि शिक्षा एवं कृषि अनुसंधान मंत्री सूर्यप्रताप शाही शनिवार गुरुकुल कुरुक्षेत्र पहुंचे। नमामि गंगे अभियान के तहत गंगा किनारे बसे 27 जिलों के 1045 गांवों में प्राकृतिक कृषि को बढ़ावा देने के उद्देश्य और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर गुरुकुल कुरुक्षेत्र के कम लागत प्राकृतिक कृषि फार्म का दौरा करने आए मंत्री गुरुकुल की व्यवस्थाओं को देखकर गदगद हो गये।
विशेष तौर पर गुरुकुल की गोशाला, गऊओं के स्वास्थ्य, दुग्ध उत्पादन, गऊओं हेतु बनाये गये अत्याधुनिक बाड़े व शैड और प्राकृतिक कृषि में गोमूत्र व गोबर का समुचित उपयोग देखकर कृषिमंत्री आचार्य देवव्रत की दूरदर्शी सोच के कायल हो गये। उन्होंने अपने साथ आए अधिकारियों से गुरुकुल कुरुक्षेत्र की गोशाला और कृषि फार्म से सीख लेने की बात कही। गुरुकुल में पहुंचने पर प्रधान कुलवन्त सैनी ने मंत्री जी व उनके साथ आए अन्य अधिकारियों का अभिनन्दन किया और राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने मंत्री जी को स्मृति चिह्न व उपहार भेंट कर सम्मानित किया। इस अवसर पर गुरुकुल के प्राचार्य कर्नल अरूण दत्ता, सह प्राचार्य शमशेर सिंह, कृषि वैज्ञानिक डॉ. हरिओम भी उपस्थित रहे।
गुरुकुल से राज्यपाल आचार्य देवव्रत स्वयं उनके साथ कृषि फार्म गये और वहाँ पर गन्ना, धान, तौरी, सिंघाड़ा, पालक, अरबी सहित अन्य फसलों अवलोकन किया। इस दौरान आचार्य देवव्रत ने प्राकृतिक कृषि और इस कृषि में प्रयुक्त होने वाले जीवामृत, घनजीवामृत आदि के विषय में विस्तारपूर्वक बताया और खेतों में इसका साक्षात प्रमाण भी दिखाया। समतल भूमि पर सिंघाड़ा की खेती देखकर मंत्री आश्चर्य में पड़ गये और उन्होंने गुरुकुल के प्राकृतिक सिंघाड़ा का स्वाद भी चखा। आचार्य देवव्रत जी ने मंत्री जी को 50 एकड़ का वो खेत भी दिखाया जो रासायनिक कृषि से बंजर हो चुका था मगर जीवामृत और घनजीवामृत के प्रयोग से उसमें फिर से फसलें लहलहा रही हैं और उत्पादन भी बढ़ा है।
आचार्य देवव्रत ने कहा कि प्राकृतिक कृषि से किसान की आय तो दोगुनी होगी ही साथ ही भूमि की उर्वरा शक्ति बढ़ेगी, देशी गाय का संरक्षण होगा, पानी की बचत होगी, खेतों में मित्र जीवों की तादाद बढ़ेगी और लोगों को शुद्ध आहार उपलब्ध होगा। आचार्य देव्रवत जी ने कहा कि भारत के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की किसानों के हितों को लेकर बहुत उदार हैं और उनका प्रयास है कि किसानों की आय 2022 तक दोगुनी हो, इस दिशा में भी प्राकृतिक कृषि किसानों के लिए वरदान साबित होगी और किसानों की आय बढ़ाने में खरी उतरेगी।
कृषि फार्म के बाद कृषिमंत्री जी का काफिला गुरुकुल की गोशाला पहुंचा जहां पर देशी गायों की विभिन्न नस्लों को देखकर एक बार फिर मंत्री जी की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। राज्यपाल आचार्य देवव्रत जी ने बताया कि गुरुकुल में देशी नस्ल की गाय भी 24 लीटर तक दूध देती है और इनके चारे, संतुलित आहार आदि की पूरी व्यवस्था गोशाला में ही है। इस दौरान मंत्री जी ने गोशाला में बनाये गये अत्याधुनिक और वातानुकूलित शैड, मिल्क पार्लर, साईलेज सैंटर, गोबर गैस प्लांट, गोमाता-तरणताल, गोबर-गोमूत्र के संरक्षण हेतु बनाये गये सुव्यवस्थित होद का बारीकी से अवलोकन किया और राज्यपाल आचार्य देव्रवत जी की दूरदर्षी सोच और उनके कठिन परिश्रम की मुक्तकंठ से सराहना की।
कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही ने कहा कि गुरुकुल के प्राकृतिक कृषि फार्म और गोशाला को देखकर यह कहना गलत नहीं होगा कि प्राकृतिक कृषि किसानों के लिए वरदान साबित होगी। प्राकृतिक कृषि से किसान न केवल गो संरक्षण में अहम भूमिका निभा सकता है बल्कि किसानों की आय भी दोगुनी, तीन गुनी हो सकती है। उन्होंने कहा कि आज बाजार में प्राकृतिक उत्पादों की मांग तेजी से बढ़ रही है, यदि किसान प्राकृतिक खेती से उगाई सब्जी, फल, अनाज आदि बाजार में लेकर जाएगा तो निश्चित रूप से उसके उत्पाद का मूल्य अधिक मिलेगा, ऐसे में ज्यादा से ज्यादा किसानों को प्राकृतिक कृषि को अपनाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि प्राकृतिक कृषि देश के सभी प्रदेशों में होनी चाहिए। उन्होंने मौके पर ही अपने साथ आए अधिकारियों को निर्देश दिये कि ज्यादा से ज्यादा किसानों को गुरुकुल का दौरा करवाएं और प्राकृतिक कृषि करने के लिए प्रेरित करें।
गुरुकुल कुरुक्षेत्र के दौरे पर उत्तर प्रदेश के कृषिमंत्री सूर्यप्रताप शाही के साथ सरदार वल्लभभाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय, मेरठ के कुलपति प्रो. आर. के मित्तल, निदेशक प्रसार डॉ. एस. के. मित्तल, कृषि वैज्ञानिक डा. गोपाल सिंह, डा. सुरेन्द्र सिंह, विनोद यादव, डॉ. राकेश, डॉ. मनवीर सिंह व भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष संजय त्यागी भी मौजूद रहे