अब गांवों से निकलेगा हाईवे, किसानों सहित कई गांवों के निवासियों को मिलेगा फायदा” : मंत्री अनिल विज
रिंग रोड में आई फसल बचाने के लिए पंजोखरा साहिब एवं अन्य गांवों के किसानों ने गृह मंत्री अनिल विज का धन्यवाद किया, किसानों ने अनिल विज जिंदाबाद के नारे लगाए
न्यूज डेक्स संवाददाता
अंबाला। हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने किसानों से कहा कि “मैं तो हर वक्त आपके साथ खड़ा हूं, समस्याओं को हल करवाना मेरी ड्यूटी है”। उन्होंने कहा कि “अब पंजोखरा साहिब गांव सहित अन्य गांवों से हाईवे (रिंग रोड) निकलेगा जिसका किसानों सहित कई गांवों के निवासियों को फायदा मिलेगा”। गुरुवार को गांव पंजोखरा साहिब सहित अन्य गांवों के दर्जनों किसान गृह मंत्री अनिल विज का धन्यवाद व्यक्त करने उनके आवास पर पहुंचे थे। दर्जनों किसानों ने कहा कि अम्बाला में रिंग रोड की जद में आई उनकी जमीन पर खड़ी फसल गृह मंत्री अनिल विज के प्रयासों से ही बच सकी है।
उन्होंने कहा यदि गृह मंत्री विज उनकी मदद न करते तो उनकी खड़ी फसल खराब हो सकती थी। गृह मंत्री ने आए किसानों को हाथ जोड़ते हुए कहा कि वह तो हर समय किसानों के साथ खड़े हैं और उनकी समस्याओं को हल करवा उनकी ड्यूटी है। उन्होंने किसानों से कहा कि अब तो उनके गांवों से हाईवे निकलेगा जिसका किसानों के साथ-साथ संपूर्ण गांववासियों को फायदा होगा। इस अवसर पर पंजोखरा गांव के सरपंच सुखविंद्र सिंह बॉबी सहित रणधीर सिंह, मास्टर करनैल सिंह, पाल सिंह फौजी, उद्यम सिंह, बलवंत सिंह, कर्म सिंह, श्रीराम पंडित, निर्मल शर्मा, पाला सिंह, कुलदीप सिंह, गुरविंद्र सिंह, मनजीत सिंह, स्वर्ण सिंह के अलावा हरियाणा सिख गुरुद्वारा मैनेजमेंट कमेटी के सदस्य सुदर्शन सिंह सहगल, बीएस बिंद्रा सहित कई किसान मौजूद रहे।
गेहूं की खड़ी फसल गृह मंत्री अनिल विज की बदौलत बच सकी
किसानों ने बताया कि अम्बाला में रिंग रोड परियोजना के तहत नेशनल हाईवे अथॉरिटी की ओर से किसानों की जमीन का अधिग्रहण किया गया था। मार्च माह में रिंग रोड निर्माण के लिए हाईवे अथॉरिटी द्वारा किसानों को जमीन खाली करने को कहा था, किसानों ने बताया उन्हें गेहूं की फसल कटने तक मोहल्लत प्रदान नहीं की जा रही थी। इस मामले को लेकर कई गांवों के किसानों ने गृह मंत्री अनिल विज से गुहार लगाई थी जिसपर गृह मंत्री ने उसी समय हाईवे अथॉरिटी को एक माह तक मोहल्लत प्रदान करने के निर्देश दिए थे ताकि किसान अपनी फसल काट सकें। अब किसानों द्वारा गेहूं की फसल को काट लिया गया था और इसी को लेकर वह धन्यवाद व्यक्त करने के लिए उनके आवास पर आए थे।