आम आदमी पार्टी की ओर से पीड़ितों को राहत सामग्री वितरित की
खट्टर सरकार ने जनता को भगवान के भरोसे छोड़ा : डॉ सुशील गुप्ता
बाढ़ के बाद महामारी न फैले उसके लिए पहले ही इंतजाम करे खट्टर सरकार : डॉ सुशील गुप्ता
खट्टर सरकार के पानी निकासी के दावों की हवा निकल चुकी है : डॉ अशोक तंवर
खट्टर सरकार ने बंदोबस्त किए होते तो बाढ़ जैसे हालात नहीं बनते : डॉ अशोक तंवर
न्यूज डेक्स संवाददाता
कुरुक्षेत्र। प्रदेश में बारिश की वजह से कई जिलों में बाढ़ जैसी स्थिति बन गई है। लोगों को परेशानी को सामना करना पड़ रहा है और किसानों की फसल जलमग्न हो गई है। इस आपदा के कारण प्रदेश के कई लोग जान भी गवा चुके हैं। आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता और नेता लगातार जनता के बीच हैं, लोगों की मदद कर रहे हैं। इसी को लेकर आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष और राज्यसभा सांसद डॉ. सुशील गुप्ता, प्रदेश प्रचार समिति के अध्यक्ष डॉ. अशोक तंवर ने शुक्रवार को कुरुक्षेत्र के बाढ़ प्रभावित क्षेत्र दीदार नगर, शांति नगर और आजाद नगर के इलाकों का दौरा किया और पीड़ितों को राहत सामग्री वितरित की।
डॉ सुशील गुप्ता ने कहा कि खट्टर सरकार ने प्रदेश की जनता को भगवान के भरोसे छोड़ रखा है। गांवों में बाढ़ की वजह से लोगों का खाने पीने का सामान खराब हो चुका है। पशु पानी में बंधे हुए हैं और फसल पानी में बह गई है। कई दिन से बिजली नहीं है, घरों में पीने का पानी भी खत्म हो गया है। लेकिन खट्टर सरकार का कोई व्यक्ति गांवों में नहीं पहुंच रहा, न ही कोई सरकारी मदद गांवों में मिल रही है। खट्टर सरकार आपदा प्रबंधन में फेल साबित हो रही है। मुख्यमंत्री खट्टर, मंत्री, विधायक इस मुश्किल की घड़ी में कोई भी जमीन पर नजर नहीं आ रहा। उन्होंने खट्टर सरकार ने पीड़ितों को उचित मुआवजा और बाढ़ के बाद महामारी न फैले उसके लिए पहले ही इंतजाम करने की मांग की।
डॉ अशोक तंवर ने कहा कि सरकार के एहतिआत न बरतने की वजह से आज ये स्थिति बनी हुई है। गठबंधन सरकार की अनदेखी के चलते आज पूरे प्रदेश में बाढ़ जैसे हालात हो गए है। मानसून से पहले खट्टर सरकार ने नदी, नालों और ड्रेनेज की साफ सफाई नहीं की। वहीं सरकार ने स्मार्ट सिटी के सभी दावे फेल साबित हुए हैं। सड़कों पर पानी के तालाब बन गए हैं। गांवों में पीने के पानी को लेकर स्थिति काफी गंभीर हैं। उन्होंने खट्टर सरकार की लापरवाही पर और धीमी कार्यशैली पर आरोप लगाते हुए कहा कि समय रहते प्रदेश सरकार ने बंदोबस्त किए होते तो बाढ़ जैसे हालात नहीं पैदा होते। प्रदेश सरकार के पानी निकासी के दावों की हवा निकल चुकी है।