विज और मुख्यमंत्री के टकराव की वजह से स्वास्थ्य सेवाएं पड़ी ठप, मरीज बेहाल- हुड्डा
मरीज इलाज, युवा रोजगार तो खाद और मुआवजे को तरसे किसान- हुड्डा
चुनाव से पहले ही बीजेपी-जेजेपी ने हार मानकर अपनी जिम्मेदारियों से झाड़ा पल्ला- हुड्डा
विधानसभा को भंग करके चुनाव करवाए बीजेपी-जेजेपी, कांग्रेस पूरी तरह तैयार- हुड्डा
डा.प्रदीप गोयल/न्यूज डेक्स संवाददाता
चंडीगढ़। पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा का कहना है कि बीजेपी की अंदरूनी कलह जनता की जान पर भारी पड़ रही है। मुख्यमंत्री और गृह व स्वास्थ्य मंत्री के बीच टकराव के चलते स्वास्थ्य सेवाएं पूरी तरह चरमराई हुई है। डॉक्टर एक बार फिर हड़ताल पर जाने की बात कर रहे हैं और मरीजों को अस्पतालों में दवाइयां तक उपलब्ध होना मुश्किल हो गया है। पिछले 100 दिन से जारी आपसी खींचतान में बेगुनाह जनता पिस रही है। प्रदेश में कानून व्यवस्था का पहले ही दिवालिया पिटा हुआ है। लेकिन गृहमंत्री व मुख्यमंत्री दोनों आंख बंद करके बैठे हैं। कांग्रेस विधानसभा के भीतर इस मुद्दे को उठेगी और सरकार से जवाब मांगेगी।
हुड्डा ने कहा कि अस्पतालों में मरीज तो खरीद केंद्रों पर किसान खाद की बाट जोह रहे हैं। बार-बार मांग किए जाने के बावजूद सरकार उचित मात्रा में खाद की सप्लाई करने में नाकाम साबित हुई है। पहले से ही किसान मौसमी मार के चलते हुए नुकसान का मुआवजा लेने के लिए यहां-वहां भटक रहे हैं। क्योंकि क्लस्टर-2 के सात जिलों का इस बार बीमा ही नहीं हुआ। जबकि प्रधानमंत्री फसल बीमा के नाम पर किसानों के खातों से प्रीमियम का पैसा काट लिया गया। हर बार की तरह इस बार भी किसानों से करोड़ों की लूट हुई है।
उधर, गन्ना किसान अपनी पेमेंट, आढ़ती और मजदूर अपने बकाये के इंतजार में बैठे हैं। प्रदेश के युवा नई भर्तियों और भर्ती प्रक्रियाओं के पूरे होने का इंतजार कर रहे हैं। लेकिन सत्ता में बैठे लोग किसी भी तबके की आवाज सुनने को तैयार नहीं हैं। ऐसा लगता है मानो बीजेपी-जेजेपी ने चुनाव से पहले ही हार मानकर अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लिया है।
भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि अगर बीजेपी-जेजेपी सरकार चलाने में नाकाम हैं तो उन्हें विधानसभा भंग करके तुरंत चुनाव करवा देने चाहिए। कांग्रेस चुनाव के लिए पूरी तरह तैयार है क्योंकि जन समर्थन कांग्रेस के साथ है। इस बार जनता गठबंधन दलों को सत्ता से बेदखल करके प्रदेश में कांग्रेस सरकार बनाएगी। अनुच्छेद 370 को लेकर पत्रकारों द्वारा पुछे गए सवाल का जवाब देते हुए हुड्डा ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला उम्मीद के अनुसार है। अनुच्छेद 370 साल 1964 में ही महत्वहीन हो गया था। भारत का हिस्सा बन चुका था और 1964 के बाद ही जम्मू कश्मीर में सड़के और राष्ट्रीय राजमार्ग बनने लगे थे। उन्होंने कहा कि असली मुद्दा जम्मू कश्मीर और लद्दाख को केंद्र शासित प्रदेश बनाने का है, और सरकार को जम्मू की विधानसभा बहाल कर तुरंत चुनाव करवाने चाहिए।