यूनिवर्सिटी सीनियर सेकेंडरी मॉडल स्कूल के पूर्व छात्र को कोविड-19 महामारी के दौरान ई-संजीवनी तकनीक विकसित करने के लिए मिला पुरस्कार
न्यूज डेक्स संवाददाता
कुरुक्षेत्र, 30 दिसंबर। कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय परिसर स्थित यूनिवर्सिटी सीनियर सैकेंडरी माॅडल स्कूल के पूर्व छात्र डा. पीके खोसला को डिजिटल इंडिया 2020 का पुरस्कार भारत के राष्ट्रपति डा. रामनाथ कोविंद द्वारा विज्ञान भवन से आॅनलाईन प्रदान किया गया। इस अवसर पर कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर सोमनाथ सचदेवा ने इस उपलब्धि के लिए डा. पीके खोसला को बधाई देते हुए कि यह भारत वर्ष के साथ-साथ कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के लिए बडे़ हर्ष का विषय है। स्कूल की वाईस चेयरपर्सन प्रोफेसर शुचिस्मिता एवं प्रधानाचार्य डॉ. एमएम सिंह ने डॉ. खोसला के परिवार को व्यक्तिगत रूप से बधाई देते हुए कहा कि ये स्कूल परिवार के लिया अति गर्व का विषय है कि आज डॉ. खोसला जी को डिजिटल इंडिया 2020 का पुरस्कार महामहिम राष्ट्रपति डॉ. रामनाथ कोविंद द्वारा विज्ञान भवन से ऑनलाइन दिया गया। इसमें केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री रविशंकर प्रसाद व अन्य गणमान्य हस्तिया मौजूद रही।
डॉ. खोसला ने कोविड-19 महामारी के दौरान ई-संजीवनी बहुत ही शीघ्रता से 28 राज्यों के तीस हज़ार डॉ. व पैरामेडिकल स्टाफ के लिए तकनीक विकसित की जिससे शीघ्र 1.3 लाख लोगो को सुविधा मिली। डॉ. हेमंत दरबारी बताते हैं की खोसला जी की टीम ने पंद्रह हजार लोगो को प्रतिदिन सुविधा देने का हल निकाला, जोकि पुरे विश्व में चर्चा का विषय है। इससे पहले खोसला को साइंटिस्ट ऑफ़ द ईयर 2017 का पुरस्कार भूतपूर्व रक्षा मंत्री अरुण जेटली द्वारा प्रदान किया गया। इसके साथ ही चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी के कुलपति द्वारा इंजीनियर ऑफ द ईयर 2018 का पुरस्कार दिया गया। यह पुरस्कार उनके साइंस व तकनीकी में महत्वपूर्ण योगदान के लिए दिया गया। इससे पहले डॉ. खोसला जी ने टर्मिनल ब्लास्टिक प्रयोगशाला में 33 वर्ष तक अपना योगदान दे चुके हैं व वर्तमान में सीडेक मोहाली में एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर के पद पर इलेक्ट्रॉनिक और सूचना मंत्रालय के अधीन कार्यरत हैं।